News18 से मिली जानकारी के अनुसार तीन तलाक विरोधी कानून और जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने के बाद अब मोदी सरकार धर्मांतरण विरोधी बिल (Anti Conversion Bill) लाने की तैयारी में हैं. अगले सत्र में इस बिल को सरकार सदन में रखने पर विचार कर रही है. बीजेपी से जुड़े थिंक टैंक के लोग बहुत पहले से इस मुद्दे को उठाते आये हैं. धर्मांतरण की ख़बरें पूर्वोत्तर, केरल और उत्तर प्रदेश से अक्सर सामने आतीं हैं, जहां डराकर, धोखे या लालच देकर गरीब अशिक्षित लोगों का धर्म परिवर्तन कराने की बात सामने निकलकर आई हैं. मोदी सरकार अगले सत्र में धर्मांतरण विरोधी कानून ला सकती है.
पीएम मोदी को पत्र भी लिखा
पिछली सरकार में संसदीय कार्य मंत्री रहे वेंकैया नायडू ने सभी दलों से धर्मांतरण पर एक राय से कानून बनाने की अपील भी की थी, लेकिन ऐसा हो नहीं पाया था. अब नई सरकार में मोदी सरकार फिर इस बिल को पेश करने की सोच रही है. बीजेपी नेता और सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता अश्विनी उपाध्याय ने धर्मांतरण विरोधी कानून के लिए एक लंबी मुहिम चलाई है और इसके लिए उन्होंने पीएम मोदी को पत्र भी लिखा है.
उन्होंने कहा,'देश के कई राज्यों में हिंदू पहले ही अल्पसंख्यक हो चुके हैं. इसके बावजूद बड़े पैमाने पर धर्म परिवर्तन हो रहा है.'
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